'अपने बयानों से सुर्खियों में बने रहने वाले केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने एक बार फिर विवादित बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि मुसलमानों को बंटवारे के वक्त ही पाकिस्तान भेज दिया जाना चाहिए था. खबरों के मुताबिक गिरिराज सिंह का कहना था, ‘हमारे पूर्वजों से गलती हो गई. मुसलमान भाइयों को 1947 में ही वहां (पाकिस्तान) भेज दिया जाना चाहिए था.’ उन्होंने आगे कहा, ‘1947 के पहले हमारे पूर्वज आजादी की लड़ाई लड़ रहे थे, उसी वक्त मोहम्मद अली जिन्ना इस्लामिक स्टेट की योजना बना रहे थे.’ गिरिराज सिंह के इस बयान का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है...'
'बेंगलुरु में पाकिस्तान जिंदाबाद का नारा लगाने वाली लड़की अमूल्या लियोना का नक्सल लिंक होने का दावा किया गया है. कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा का कहना है कि यह समाज में शांति और सौहार्द के माहौल को बिगाड़ने की कोशिश है. जांच ऐसे लोगों की भी होनी चाहिए, जो इनको प्रोत्साहित करते हैं. अमूल्या का नक्सलियों से भी संबंध था. सजा तो होनी ही चाहिए... इस बीच अमूल्या लियोना के पिता ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है. उनका आरोप है कि चिकमंगलुरु में उनके घर को कुछ अराजक तत्वों ने तोड़ दिया है. अमूल्या के पिता जेडीएस के स्थानीय नेता हैं.
'गुजरात में महिलाओं के साथ अपमानजनक व्यवहार रुकने का नाम नहीं ले रहा है। भुज के एक कॉलेज में छात्राओं की माहवारी जांज की घटना के बाद सूरत नगर निगम (एसएमसी) में प्रशिक्षु महिला लिपिकों को यहां नगर निकाय द्वारा संचालित एक अस्पताल में शारीरिक जांच के लिये एक कमरे में कथित तौर पर बिना कपड़ों के खड़े रखा गया। मामला सामने आने के बाद अधिकारियों ने जांच के आदेश दिए हैं। सू्रत नगरपालिका आयुक्त बंचानिधि पाणि ने शुक्रवार को उन आरोपों की जांच के आदेश दिये जिनमें कहा गया है कि करीब 10 महिला प्रशिक्षु लिपिकों को अस्पताल के प्रसूति रोग वार्ड में चिकित्सीय परीक्षण के लिये बिना कपड़ों के खड़े रखा गया...'
'कर्नाटक के बेंगलुरू में नागरिकता कानून और एनआरसी के विरोध में एक रैली में महिला द्वारा कथित तौर पर पाकिस्तान जिंदाबाद का नारा लगाने पर राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया है. इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, महिला को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेजा गया है. गुरुवार को ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) की एक रैली में अमूल्या लियोना नाम की महिला ने कथित तौर पर मंच से पाकिस्तान के समर्थन में नारेबाजी की. इस दौरान मंच पर एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी मौजूद थे लेकिन उन्होंने महिला से इस तरह के नारे नहीं लगाने को कहा और माइक लेने की कोशिश की...'
'अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का 24 फरवरी को आगरा आगमन प्रस्तावित है। उनके स्वागत में मार्ग पर दोनों तरफ 26 हजार बच्चों को खड़ा रखने की योजना है। बच्चों को जुटाने की जिम्मेदारी शिक्षा विभाग के साथ पुलिस को दी गई है। पुलिस अधिकारी स्कूलों में पहुंचकर बैठकें कर रहे हैं। ट्रंप के स्वागत में स्कूली बच्चे लगभग पांच घंटे खड़े रहेंगे। डोनाल्ड ट्रंप शाम करीब 4:30 बजे आगर आएंगे और शाम 6:30 बजे ताजमहल से चल देंगे। खेरिया हवाई अड्डे से ताजमहल की दूरी लगभग 15 किलोमीटर है। उनके स्वागत के लिए अजीतनगर गेट से शिल्पग्राम तक सड़क पर दोनों तरफ स्कूली बच्चों को खड़ा रखने की योजना है...'
'उत्तर प्रदेश के भारतीय जनता पार्टी (BJP) के विधायक सुरेंद्र सिंह के बेटे हजारी सिंह पर एक दलित कर्मचारी को पीटने का आरोप लगा है। तहसील कार्यालय के सैकड़ों कर्मचारियों ने बुधवार को हुई इस घटना को लेकर हजारी सिंह की गिरफ्तारी की मांग के साथ थाने पर प्रदर्शन किया...'
'राजस्थान के नागौर जिले के पांचौड़ी थाना क्षेत्र के करणू गांव में दबंगों द्वारा एक मोटरसाइकिल एंजेंसी में युवक के साथ बर्बरता करने का मामला सामने आया है। आरोप है कि युवक के साथ पहले मारपीट की गई और उसके बाद पीड़ित के प्राइवेट पार्ट में पेट्रोल डाल दिया गया। गत रविवार को हुई इस घटना का वीडियो 19 फरवरी को सोशल मीडिया पर वायरल हो गया...'
'उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को दावा किया कि संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ गत 19 दिसंबर को राज्य के विभिन्न जिलों में हुई हिंसा के दौरान एक भी व्यक्ति पुलिस की गोली लगने से नहीं मरा. योगी ने विधानसभा में राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा का जवाब देते हुए कहा, ‘सीएए के खिलाफ उपद्रव के दौरान पुलिस की गोली से कोई नहीं मरा.
'नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में राजनीति और तेज हो गई है. सीएए के खिलाफ प्रदर्शन को लेकर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के नेता वारिस पठान ने एक बेहद भड़काऊ बयान दिया है. असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी के नेता और प्रवक्ता वारिस पठान ने कहा है कि इस देश के 15 करोड़ मुसलमान 100 करोड़ लोगों पर भारी हैं...'
'सिकंदर बहुरुपिये का काम करते हैं। सिकंदर के पास अपनी भारतीय पहचान का एकमात्र दस्तावेज उनको अपने पुरखों की हवेली है । अब उन्हें चिंता सता रहा है कि नागरिकता रजिस्टर ओर नागरिकता संशोधन कानून के अंतर्गत देश से बाहर निकलना पड़ेगा या रिफ्यूजी कैम्पों में रहना पड़ेगा क्योंकि उनके पास अपनी पहचान के अन्य कोई दस्तावेज नहीं हैं...'