"कैग (भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक) ने गुजरात सरकार पर रिलायंस और अदानी सहित कई दूसरी कंपनियों को फायदा पहुंचाने का आरोप लगाया है। कैग ने अपनी रिपोर्टों में कहा है कि राज्य सरकार द्वारा करीब 25 हजार करोड़ रुपए की वित्तीय अनियमितताएं की गईं और इनमें से 1500 करोड़ रुपए का इस्तेमाल रिलायंस पेट्रोलियम, एस्सार पावर और अदानी ग्रुप सहित अन्य कई कंपनियों को फायदा पहुंचाने में किया गया। अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया ने इस बारे में रिपोर्ट प्रकाशित की है। रिलायंस को पहुंचाया फायदा. कैग की रिपोर्टें बजट सत्र के आखिरी दिन शुक्रवार को गुजरात विधानसभा में पेश की गईं। 'इकोनॉमिक सेक्टर' पर कैग की ऑडिट रिपोर्ट में कहा गया कि गुजरात मैरीटाइम बोर्ड ने कैप्टिव जेट्टी अग्रीमेंट के तहत रिलायंस पेट्रोलियम लिमिटेड से गलत शुल्क चार्ज किया। इस कदम से सरकार को 649.29 करोड़ रुपए कम हासिल हुए।
एस्सार को फायदा. कैग ने गुजरात ऊर्जा विकास निगम लिमिटेड (जीयूवीएनएल) के मामलों पर भी रिपोर्ट पेश की। इसमें कहा गया कि बिजली खरीद संबंधी समझौता पूरा होने के बाद भी जीयूवीएनएल ने डिलीवरी को लेकर कदम नहीं उठाया। इसकी वजह से एस्सार पावर गुजरात लिमिटेड को 587.50 करोड़ रुपए का अनुचित फायदा मिला।
अदानी को फायदा. ऑडिट एजेंसी ने कहा कि अदानी ग्रुप के स्वामित्व वाले मुंद्रा बंदरगाह पर फेज एक के तहत हो रहे निर्माण कार्यों पर निगरानी नहीं करने की वजह से सरकार को 118.12 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ..." (और पढ़ें.)